संवेग क्या होता है?
इसे अंग्रेजी में मोमेंटम (Momentum) कहा जाता है। यह गति करती हुयी वस्तु के व्याख्या करने के लिए उपयोग किया जाता है। सर्वप्रथम महान वैज्ञानिक न्यूटन ने इसकी परिकल्पना किया था। उनके अनुसार
किसी वस्तु के द्रव्यमान तथा वेग के गुणनफल को संवेग कहा जाता है।
यह एक सदिश राशि होता है। अर्थात इसको पूर्ण रूप से व्यक्त करने के लिए मात्रक की जरुरत होती है। संवेग को अंग्रेजी के P अक्षर द्वारा सूचित किया जाता है।
संवेग का फार्मूला क्या होता है?
संवेग के परिभाषा को गणितीय रूप में व्यक्त किया जाए तब यह इसका फार्मूला हो सकता है। संवेग के परिभाषा के अनुसार
संवेग = द्रव्यमान x वेग
यदि वस्तु का द्रव्यमान M kg तथा वेग V m/s हो तब संवेग P को निम्न तरीके लिखा जा सकता है।
P = M x V
P = MV
संवेग का मात्रक क्या होता है?
चूँकि संवेग दो भौतिक राशि द्रव्यमान तथा वेग का गुणनफल है इसलिए इसका मात्रक भी इन दोनों राशियों के मात्रक के गुणनफल के बराबर होगा है अतः इसे हम निम्न तरीके से लिख सकते है :
संवेग के मात्रक = (द्रव्यमान का मात्रक)x(वेग का मात्रक)
संवेग के मात्रक = (Kg)x(m/s)
संवेग के मात्रक = (Kg-m/s)
अर्थात संवेग का SI मात्रक किलो ग्राम मीटर प्रति सेकंड होता है।
संवेग को दैनिक जीवन में कैसे अनुभव किया जाता है?
जब दो वस्तुए जिनमे एक भारी तथा दूसरी हल्की हो ,सामान वेग से गति करती है तब इनके गति को रोकने के लिए अलग अलग परिमाण के बल का प्रयोग करना पड़ता है। जैसे हलकी वस्तु को रोकने में कम बल तथा भारी वस्तु को रोकने में ज्यादा बल लगाना पड़ता है। इसका मुख्य कारण संवेग है। चूँकि संवेग द्रव्यमान तथा संवेग का गुणनफल के बराबर होता है। हमारे इस प्रश्न में दोनों वस्तुओ का वेग सामान है लेकिन इनका द्रव्यमान अलग अलग है। अतः जिस वस्तु का द्रव्यमान ज्यादा होता है उसका संवेग ज्यादा होगा और उस वस्तु को रोकने के लिए बड़े परिमाण का बल प्रयोग करना पड़ेगा।
आंकिक प्रश्न
50 किलोग्राम की एक वस्तु 50 m/s की गति से घूम रही है। इस वस्तु का संवेग कितना होगा?
इस प्रश्न में
द्रव्यमान = M = 50 kg
वेग = V = 50 m/s
उपर दिए सूत्र के अनुसार
P = MV
P = 50 x 50 = 2500 Kgm/s
संवेग = 2500 kgm/s
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