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Buck कनवर्टर सर्किट कार्य प्रणाली | Buck कनवर्टर कैसे कार्य करता है ?

Buck कनवर्टर क्या है ? Buck Converter एक प्रकार का DC से DC कन्वर्टर है जो High Voltage DC  को  लो वोल्टेज  डीसी  में बदलता है। इसे स्टेप-डाउन कन्वर्टर भी कहते है क्योंकि यह वोल्टेज को घटाता है।  Buck कनवर्टर के मुख्य कॉम्पोनेन्ट  बक कनवर्टर को पूर्ण रूप से समझने के लिए उसमे उपयोग होने वाले कॉम्पोनेन्ट के बारे में जानना चाहिए। बक कनवर्टर के निर्माण में निम्न कॉम्पोनेन्ट उपयोग होते है  इनपुट वोल्टेज (Vin): जहाँ से हाई वोल्टेज दिया जाता है। स्विच (MOSFET या ट्रांजिस्टर): ऑन और ऑफ होता है जिससे वोल्टेज को कंट्रोल किया जाता है। डायोड (Diode): स्विच OFF होने पर करंट को सही दिशा में बहने देता है। इंडक्टर (L): करंट को स्मूथ बनाता है और एनर्जी स्टोर करता है। कैपेसिटर (C): वोल्टेज को फिल्टर करता है ताकि आउटपुट स्थिर रहे। लोड (Load): जहाँ बिजली की जरूरत होती है, जैसे कोई सर्किट या डिवाइस। बक कैसे काम करता है? Buck Converter बहुत ही तेज़ी से ON और OFF होता है  जब स्विच ON होता है (Ton): इनपुट वोल्टेज सीधा इंडक्टर और लोड को मिलता है। इंडक्टर एन...

linear Induction Motor[LIM] : परिभाषा ,कार्य सिद्धांत , प्रकार तथा उपयोग

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लीनियर इंडक्शन मोटर क्या है ? लीनियर इंडक्शन मोटर को हिंदी में रैखिक प्रेरण मोटर कहते है। यह एक विशेष प्रकार की विधुत चुंबकीय मशीन  है जो विधुत धारा तथा चुंबकीय क्षेत्र के परस्पर क्रिया द्वारा रैखिक गति उत्पन्न करती है। सामान्य मोटर घूर्णन गति उत्पन्न करते है जबकि लीनियर इंडक्शन मोटर रैखिक गति उत्पन्न करते है। इसमें दो मुख्य भाग होते हैं:  स्थिर प्राथमिक भाग चलने वाला द्वितीयक भाग प्राथमिक भाग में थ्री -फेज कुंडली  अर्थात कोइल होती है, जबकि द्वितीयक भाग में चालक होते है जिसमे चुंबकीय क्षेत्र से प्रेरित विधुत धाराएं प्रवाहित होती है । प्राथमिक और द्वितीयक भाग के बीच चुंबकीय क्षेत्र का इंटरेक्शन बल उत्पन्न करता है जिससे द्वितीयक भाग को गति मिलता है। लीनियर इंडक्शन मोटर का कार्य सिद्धांत रैखिक प्रेरण मोटर का कार्य सिद्धांत फराडे के विधुत चुम्बकीय प्रेरण के सिद्धांत पर आधारित है।लीनियर इंडक्शन मोटर के प्राथमिक भाग को थ्री फेज ए०सी सप्लाई से जोड़ने पर एक प्रत्यावर्ती प्रकृति का चुंबकीय क्षेत्र उत्पन्न होता है। यह चुंबकीय क्षेत्र द्वितीयक भाग में स्थित चालको में विधुत धारा को प्...

CHADEMO : परिभाषा ,इतिहास तथा उपयोग - हिंदी इलेक्ट्रिकल डायरी

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CHADEMO क्या है ? यह विधुत वाहन के लिए फ़ास्ट चार्जिंग सिस्टम है। इस चार्जिंग सिस्टम को 2010 में पांच प्रमुख जापानी वाहन निर्माताओं तथा टोक्यो इलेक्ट्रिक पावर कंपनी द्वारा विकसित किया  गया। CHADEMO का पूर्ण रूप CHarge De MOve है जिसका हिंदी में अर्थ होगा चलने के लिए चार्ज करो। इस वाक्य को जापानी वाक्यांश ''o CHA deMO ikaga desuka'' से लिया गया है। इसका अर्थ हुआ की एक कप चाय पीने में जितना समय लगता है उतने ही समय में वाहन चार्ज हो जाएगी।  2014 के बाद यूरोपियन यूनियन में उपयोग होने वाली फ़ास्ट चार्जिंग सिस्टम CCS ,चाइनीज़ चार्जिंग सिस्टम GB/T तथा यूरोप के बाहर टेस्ला के सुपरचार्ज सिस्टम के प्रतिस्पर्धा CHADEMO  चार्जिंग सिस्टम काम करता है।  यह चार्जिंग सिस्टम जापान में बहुत ही ज्यादा उपयोग किया जाता है लेकिन अब जापान के बाहर कुछ वाहन निर्माता इस फ़ास्ट चार्जिंग सिस्टम का उपयोग कर रहे है।  पहली पीढ़ी के CHADEMO चार्जिंग सिस्टम अधिकतम 500 V DC तथा 125 A DC विधुत धारा पर 62.5KW विधुत शक्ति डिलीवर करते थे। इसे कई अंतरराष्ट्रीय वाहन चार्जिंग मानकों में शामिल ...

विधुत वाहन (EV) के चार्जिंग केबल तथा प्लग की पूरी जानकारी - हिंदी इलेक्ट्रिकल डायरी

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इलेक्ट्रिक कार क्या है ? विधुत ऊर्जा से चलने वाली कार को इलेक्ट्रिक कार या विधुत कार कहते है। वर्तमान समय में दुनिया में विधुत कार का प्रचलन बढ़ रहा है। दुनिया में बढती महंगाई और ग्लोबल वार्मिंग की समस्या की वजह से लोग विधुत वाहन के तरफ अपना रुख कर रहे है। विधुत वाहन के बारे में विशेष जानकारी के लिए आप हमारे दूसरे ब्लॉग पोस्ट को पढ़ सकते है। यहाँ हम विधुत वाहन के चार्जिंग के लिए उपयोग होने वाले चार्जिंग केबल तथा प्लग की जानकारी आपके साथ साझा करने वाले है।  एक कार चालक से कार को देखकर पूछा जाए की यह एक साधारण पेट्रोल या डीजल इंजन  कार है या विधुत इंजन कार ,शायद वह इस बात का सीधा जवाब न दे पाए क्योकि दोनों प्रकार की गाड़ियों को बाहरी बनावट एक जैसा ही होता है। विधुत इंजन एवं IC इंजन (Internal Combustion Engine) में मुख्य अंतर उनमे उपयोग होने वाली ईंधन पर है। IC इंजन में पेट्रोल या डीज़ल को दस से पांच मिनट में आसानी से डाला जा सकता है लेकिन विधुत इंजन में ऐसा नहीं है। यहाँ आपको चार्जर पॉइंट पर जाकर अपने गाड़ी को कुछ समय के लिए रूकर चार्ज करना पड़ेगा। केवल इससे ही काम नहीं चलेगा आपको विभ...

इंडिया में बिकने वाली टॉप -5 सबसे सस्ती विधुत वाहन (EV) - विशेषता , कीमत और बहुत कुछ

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विधुत वाहन क्या है ? विधुत ऊर्जा से चलने वाली सभी प्रकार की गाड़ियों को विधुत वाहन कहते है। आज पुरे दुनिया में विधुत वाहन का प्रचलन बढ़ रहा है। विधुत वाहन जिसे इंग्लिश में EV कहते है ,लोगो के बीच लोकप्रिय होती जा रही है। विधुत वाहन से किसी भी प्रकार का प्रदूषण नहीं फैलता है तथा इनकी दक्षता(efficiency) मोटर वाहन की तुलना में ज्यादा है। इसके अतिरिक्त अन्य दूसरी खुबिया भी लोगो को विधुत वाहन के तरफ आकर्षित कर रही है। विधुत वाहन से सम्बंधित अन्य दूसरी जानकारी के लिए आप हमारे दूसरे ब्लॉग पोस्ट को पढ़ सकते है। यहाँ हम इंडिया में बिकने वाली सस्ती विधुत वाहन की जानकारी आपके साथ साझा करने जा रहे है। इंडिया में सबसे सस्ती एवं ज्यादा बिकने वाली गाड़िया निम्न है : टाटा टियागो EV  टाटा टैगोर EV  टाटा नेक्सॉन EV प्राइम  महिंद्रा XUV400 EV MG ZS EV (1) टाटा टियागो (Tata Tiago EV) इंडिया में टाटा ग्रुप सबसे ज्यादा विधुत वाहन का निर्माण कर रहा है। टाटा टियागो मध्यम वर्ग के लोगो को ध्यान में रखकर बनाया गया है। यह इंडिया में उपलब्ध सबसे सस्ती विधुत कार है। इस विधुत वाहन की विशेषता निम्न है ...

कंबाइंड चार्जिंग सिस्टम (CCS) की पूरी जानकारी - हिंदी इलेक्ट्रिकल डायरी

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Combined Charging System क्या है ? वर्तमान समय में विधुत वाहन का प्रचलन बढ़ता ही जा रहा है। विधुत वाहन में सबसे बड़ी समस्या चार्जिंग को लेकर है। समय समय पर चार्जिंग समस्या को लेकर विभिन्न प्रकार के फ़ास्ट चार्जर को बाजार में लांच किया गया है जिसमे पहला फ़ास्ट डीसी चार्जर जापानी कंपनियों द्वारा लांच किया जिसे CHADEMO के नाम से जाना जाता है। यूरोप तथा अमेरका में Type-1 तथा Type-2 ए०सी चार्जर को लांच किया गया है। इन दोनों  चार्जर के अपने गुण तथा दोष थे। इसके बाद चाइनीज़ कंपनियों ने अपना GB/T डीसी फ़ास्ट चार्जर को बाजार में लांच किया। इन तीनो प्रकार के चार्जर में अलग अलग तकनीक का उपयोग किया गया है। मतलब जिस चार्जर का इनलेट सॉकेट विधुत वाहन में लगा है ,वह वाहन उसी चार्जर से चार्ज होगी।  Type-1 तथा Type-2 ए०सी चार्जर है जबकि CHADEMO तथा GB/T डीसी फ़ास्ट चार्जर है। ए०सी कनेक्टर वाली गाड़िया डीसी कनेक्टर वाली चार्जर से चार्ज नहीं हो सकती और डीसी कनेक्टर वाली गाड़िया ए०सी चार्जर से चार्ज नहीं हो सकती। ए०सी तथा डीसी को एक ही कनेक्टर में कंबाइन कर जो चार्जिंग सिस्टम बनाई गई उसे Combined Char...

इलेक्ट्रिक व्हीकल: परिचय ,इतिहास ,कार्य सिद्धांत ,लाभ तथा हानि - हिंदी इलेक्ट्रिकल डायरी

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EV क्या है ? EV अर्थात इलेक्ट्रिक व्हीकल(Electric Vehicle) जिसे हिंदी में विधुत वाहन कहते है। विधुत ऊर्जा से संचालित होने वाली सभी प्रकार की वाहनों को विधुत वाहन कहते है। इस प्रकार के वाहन में किसी प्रकार का आंतरिक दहन इंजन नहीं होता है। विधुत वाहन में ऊर्जा का श्रोत लिथियम आयन बैटरी होती है जिसमे संचित विधुत ऊर्जा को विधुत मोटर की मदद से यांत्रिक ऊर्जा में परिवर्तित किया जाता है जिससे गाड़ियों के पहिया घूमता है। विधुत वाहन में विभिन्न प्रकार के मोटर का उपयोग किया जाता है।  विधुत वाहन का इतिहास क्या है ? विधुत वाहन प्रारंभिक तौर पर किसी देश में और कब विकसित की गई इसका कोई लिखित प्रमाण नहीं है लेकिन विधुत बैटरी तथा मोटर के अविष्कार के बाद हंगरी ,नीदरलैंड तथा यूनाइटेड स्टेट के कुछ अविष्कारक विधुत से चलने वाली गाडी बनाने के बारे में सोच रहे थे। इनमे रोबर्ट एंडरसन पहले ब्रिटिश व्यक्ति थे जिन्होंने पहली विधुत वाहन बनाई और माल ढोने के लिए इसका उपयोग किया।  1890 में अमेरिकन अविष्कारक  विलियम मॉरिसन ने पहली बार विधुत से संचालित होने वाली कार बनाई जिसकी अधिकतम गति 14 मिल प्रति घंटे...